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कश पटेल के राम मंदिर पोस्ट ने बटोरीं थी सुर्खियां


कश पटेल अमेरिकी मीडिया को देश का सबसे ताकतवर दुश्मन मानते हैं। एक बातचीत के दौरान कश पटेल ने अमेरिकी मीडिया के खिलाफ बड़ी कार्रवाई के संकेत दिए थे। डोनाल्ड ट्रंप ने भारतीय मूल के कश पटेल को बड़ी जिम्मेदारी सौंपते हुए संघीय जांच एजेंसी एफबीआई का नया निदेशक नियुक्त किया है। कश पटेल की नियुक्ति अमेरिका में अच्छी खासी सुर्खियां बटोर रही है और इसकी वजह है कश पटेल का अमेरिकी मीडिया और न्याय विभाग को लेकर नजरिया। कश पटेल अमेरिकी मीडिया को देश का सबसे ताकतवर दुश्मन मानते हैं। एक बातचीत के दौरान कश पटेल ने अमेरिकी मीडिया के खिलाफ बड़ी कार्रवाई के संकेत दिए थे। अब जब वह एफबीआई निदेशक बन गए हैं तो उनके फैसलों पर सभी की निगाहें होंगी।
मीडिया को मुखर आलोचक माने जाते हैं कश पटेल
साल 2023 में एक इंटरव्यू के दौरान कश पटेल ने कहा था कि सत्ता में आने पर वे कानूनों में ऐसा बदलाव करेंगे, जिसके बाद पत्रकारों के खिलाफ भी मुकदमा करना आसान हो जाएगा। कश पटेल ने कहा था कि वे न सिर्फ सरकार में बल्कि मीडिया में भी मौजूद साजिशकर्ताओं को बेनकाब करेंगे और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करेंगे। सूचना लीक करने के मामलों में भी कश पटेल ने दोषी पत्रकारों के खिलाफ कार्रवाई की बात कही थी। कश पटेल ने कहा था कि मीडिया मे मौजूद जिन लोगों ने अमेरिकी नागरिकों से जो बाइडन की राष्ट्रपति चुनाव में धोखाधड़ी के बारे में झूठ बोला था, उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। साल 2016 में डोनाल्ड ट्रंप के चुनाव में कथित रूसी हस्तक्षेप की जांच के दौरान कश पटेल ने कहा था कि मीडिया अमेरिका का अब तक का सबसे बड़ा दुश्मन है।
एफबीआई में कर सकते हैं बड़े बदलाव
कश पटेल एफबीआई की मौजूदा व्यवस्था के भी मुखर आलोचक हैं। एक टीवी शो के दौरान कश पटेल (44 वर्षीय) ने एफबीआई में आमूलचूल परिवर्तन करने की बात कही। जिसमें एफबीआई के खुफिया जानकारी जुटाने से रोकने और एफबीआई मुख्यालय का फिर से निर्माण कश पटेल की प्राथमिकता में है। कश पटेल का कहना है कि वह एफबीआई अधिकारियों के फील्ड में उतरकर जांच करने के पक्ष में हैं। साथ ही उन्होंने एफबीआई के नए मुख्यालय को राजधानी वॉशिंगटन डीसी के बाहर बनाने की योजना बनाने की बात कही थी ताकि एफबीआई को राजनीतिक प्रभाव से दूर रखा जा सके।
राम मंदिर पर दिए बयान से भी चर्चा में रहे थे
कश पटेल के परिजनों का भारत के गुजरात से संबंध है। न्यूयॉर्क में पैदा हुए कश पटेल के माता-पिता पूर्वी अफ्रीकी देश तंजानिया से अमेरिका पहुंचे थे। कानून की पढ़ाई करने वाले कश पटेल को अपने गुजराती मूल पर गर्व है और वे कह भी चुके हैं कि वे गुजरात मूल से आते हैं। अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण पर कश पटेल के एक सोशल मीडिया पोस्ट ने खासी सुर्खियां बटोरीं थी। दरअसल इस पोस्ट में कश पटेल ने लिखा था कि विदेशी मीडिया अयोध्या के 50 वर्षों की बात कर रही है लेकिन राम मंदिर के 500 साल से भी पुराने इतिहास को भुला दिया गया है। कश ने अयोध्या में राम मंदिर निर्माण का समर्थन किया था।

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