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हेड कॉन्स्टेबल ने गर्दन काटकर दी जान,पहले फंदे से लटके तो रस्सी टूट गई


उरई/जालौन । जालौन में हेड कॉन्स्टेबल ने अपने सरकारी आवास में चाकू से गर्दन काटकर आत्महत्या कर ली। इससे पहले फंदा लगाकर जान देने की कोशिश की, मगर रस्सी टूट गई। कमरे में पंखे से बंधी रस्सी भी मिली। सूचना मिलते ही कैलिया थाने की पुलिस मौके पर पहुंची और जांच पड़ताल की। घटना की जानकारी एसपी ईरज राजा को दी गई। वह फोरेंसिक टीम के साथ सिपाही के आवास पर पहुंचे और लोगों से पूछताछ की। शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया। कॉन्स्टेबल के बेटे का कहना है, पापा की हत्या हुई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। मामला कैलिया थाना परिसर में बने सरकारी आवास का है। कन्नौज के पदारसपुर के रहने वाले वीरेंद्र कुमार की 1995 में पुलिस विभाग में आरक्षी के पद पर तैनाती हुई। पिछले एक साल से वह जालौन के कैलिया थाने में हेड कॉन्स्टेबल के पद पर तैनात थे। रविवार सुबह उन्होंने चाकू से खुद की गर्दन काटकर आत्महत्या कर ली। घटना की जानकारी तब हुई, जब उसके साथ तैनात पुलिसकर्मी उन्हें बुलाने कमरे में गए। वहां वीरेंद्र कुमार का शव खून से लथपथ पड़ा था। साथी पुलिसकर्मियों ने तुरंत मामले की जानकारी थाना प्रभारी राजीव कुमार वैस को दी। वह फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। मौके पर जांच पड़ताल की। कुछ देर बाद पुलिस अधीक्षक डॉ. ईरज राजा, फोरेंसिक टीम और अपर पुलिस अधीक्षक असीम चौधरी के साथ घटनास्थल पर पहुंचे। यहां उन्होंने सभी पहलुओं पर जांच की। एसपी ने ही घटना की सूचना हेड कॉन्स्टेबल वीरेंद्र के घरवालों को भी दी। सूचना पर मृतक का बेटा अभिषेक सिंह और साले राजेश सिंह भी पहुंच गए। पिता का खून से लथपथ शव देखकर बेटे अभिषेक सिंह ने उनकी हत्या की आशंका जताई। हालांकि, अभी वह इसकी कोई वजह नहीं बता सके। वहीं, मृतक वीरेंद्र कुमार के साले राजेश सिंह ने बताया, हमें रात में पता चला कि उनकी तबीयत खराब है। जीजा ने फोन कर बताया कि यहां थाने में मौजूद कुछ व्यक्ति उन्हें मारना चाहते हैं। उनसे कुछ विवाद हुआ था। लेकिन यह विवाद क्या था, ये नहीं बताया था। इसके बाद मेरे भांजे की उनसे सुबह 4 बजे बात हुई। फिर उनका फोन स्विच ऑफ हो गया। सुबह करीब साढ़े 10 बजे हमारी बात इंस्पेक्टर साब से हुई तो उन्होंने हमें बताया कि वीरेंद्र की तबीयत खराब है, आप लोग आ जाइए। बीच रास्ते हमने फिर पूछा तो बताया कि उनकी मौत हो चुकी है। हमें यहां के हालात देखकर साफ-साफ लग रहा है कि उन्हें मार दिया गया है। उनकी बॉडी कमरे से बाहर पड़ी थी। सिपाही के तीन बच्चे हैं। दो बेटे और एक बेटी। पत्नी समेत परिवार कानपुर में रहता है। एसपी डॉक्टर ईरज राजा ने कहा, मुख्य आरक्षी वीरेंद्र कुमार कैलिया थाने में तैनात थे। पहली नजर में लग रहा है कि मुख्य आरक्षी ने आत्महत्या की है। उसने चाकू से अपनी गर्दन पर वार कर जान दे दी। कमरे की जांच की गई तो पंखे से बंधा फंदा भी मिला। जिससे यह लग रहा, उन्होंने पहले फांसी लगाकर जान देने की कोशिश की। रस्सी टूट जाने से वह बच गए। पंखे पर आधी रस्सी टूटी मिली है। शायद इसी के बाद उन्होंने गर्दन काटकर अपनी जान दे दी। एसपी ने बताया कि सभी पहलुओं पर जांच की जा रही है। फोरेंसिक टीम की मदद ली जा रही है। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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